राष्ट्रीय

ABP Opinion Poll: पीएम मोदी की रैलियों से किसानों की नाराजगी कम होगी? जानें लोगों ने क्या कहा

[responsivevoice_button voice="Hindi Female"]

[ad_1]

Western UP Election 2022: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Modi) ने पिछले दिनों पश्चिमी यूपी के लोगों को वर्चुअली संबोधित किया. पश्चिमी यूपी किसान आंदोलन से प्रभावित रहा है और यहां जाट करीब 17 प्रतिशत हैं. करीब 45 से 50 सीट ऐसी हैं जहां जाट वोटर जीत-हार तय करते हैं. लेकिन करीब एक साल तक चले किसान आंदोलन की वजह से कहा जा रहा है कि जाट कहीं इस बार बीजेपी से दूर न हो जाएं. 

इसी के मद्देनजर पीएम मोदी (PM Modi) ने 31 जनवरी को पश्चिमी यूपी के पांच जिलों बागपत, शामली, गौतमबुद्ध नगर, मुजफ्फरनगर और सहारनपुर से जुड़े मतदाताओं को डिजिटल माध्‍यम से संबोधित किया. अब सवाल उठता है कि क्या पीएम नरेंद्र मोदी की रैलियों से किसानों की नाराजगी कम होगी? इसी सवाल का जवाब जानने के लिए एबीपी न्यूज़ के लिए सी वोटर ने स्नैप पोल किया है.

सर्वे के मुताबिक, 46 फीसदी लोगों ने कहा कि पीएम की रैलियों से किसानों की नाराजगी कम होगी. वहीं 42 फीसदी ने नहीं में जवाब दिया और 12 फीसदी ने पता नहीं में जवाब दिया.

पीएम की रैलियों से किसानों की नाराजगी कम होगी ?

हां-46
नहीं-42
पता नहीं-12

वर्चुअल रैली के दौरान पीएम मोदी (PM Modi) ने किसानों को लेकर कहा कि हमारा लक्ष्य था कि किसान को मिलने वाली सरकारी मदद में लूट-बेईमानी बंद हो, यूपी के छोटे किसानों के बैंक खाते में सीधी मदद की और आज पीएम किसान सम्मान निधि से यूपी के किसानों को 43 हजार करोड़ रुपये सीधे उनके जेब में मिले हैं. इसका बहुत बड़ा लाभ छोटे किसानों को मिला है.’

उन्होंने कहा कि यूपी में बनाये जा रहे बायोगैस प्‍लांट बेसहारा पशुओं से जुड़ी दिक्कत को कम करेंगे और किसानों को अतिरिक्त आय का साधन भी मुहैया कराएंगे. दूध न देने वाले पशुओं के गोबर से भी किसानों को पैसा मिलेगा.

गन्ना किसानों के बकाये भुगतान को लेकर पीएम मोदी ने कहा, ”हमने गन्ना किसानों की दिक्कतों को ध्‍यान में रखते हुए उनके बकाया भुगतान का भी लक्ष्य रखा है और इस लक्ष्य को तेजी से पूरा किया है. पश्चिमी उप्र के किसान भूले नहीं हैं कि 2017 से पहले कैसे मेहनत का पैसा सालों साल किस्तों में मिलता था, लेकिन योगी नीत सरकार ने वो बकाया भी चुकाया और नये सीजन का भुगतान भी तेजी से किया.”’

बता दें कि तीन कृषि कानूनों के खिलाफ आंदोलन में पश्चिमी उत्तर प्रदेश के किसानों ने बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया था. खासकर जाट किसानों ने इसमें अपनी भागीदारी दिखाई. भारतीय किसान यूनियन के नेता जाट बिरादरी के राकेश टिकैत पश्चिमी यूपी के मुजफ्फरनगर जिले के निवासी हैं जबकि समाजवादी पार्टी के साथ विधानसभा चुनाव में गठबंधन करने वाले राष्ट्रीय लोकदल के प्रमुख जाट बिरादरी के जयंत चौधरी बागपत जिले के मूल निवासी है.

Budget 2022 Highlights: Cryptocurrency पर 30% टैक्स, आयकर स्लैब में कोई बदलाव नहीं, पढ़ें बजट की बड़ी बातें

[ad_2]

Source link

Aamawaaz

Aam Awaaz News Media Group has been known for its unbiased, fearless and responsible Hindi journalism since 2018. The proud journey since 3 years has been full of challenges, success, milestones, and love of readers. Above all, we are honored to be the voice of society from several years. Because of our firm belief in integrity and honesty, along with people oriented journalism, it has been possible to serve news & views almost every day since 2018.

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button