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Parliament Winter Session: संसद का शीतकालीन सत्र आज से शुरू हो रहा है. केंद्र सरकार की ओर से विवादित कृषि कानूनों को वापस लेने के फैसले के बाद भी आज का सत्र हंगामेदार रहने की आशंका है. वहीं, पेगासस जासूसी विवाद, महंगाई, बेरोजगारी और चीन के अतिक्रमण जैसे मुद्दों को लेकर भी विपक्षी दलों ने सरकार को घेरने की पूरी तैयारी कर लिया है. सूत्रों ने बताया कि संसद के शीतकालीन सत्र के पहले दिन लोकसभा की ओर से पारित किए जाने के बाद तीन कृषि कानूनों को निरस्त करने वाले विधेयक को सोमवार को ही राज्यसभा में पेश किए जाने की संभावना है.
सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक कृषि कानून निरसन विधेयक-2021 को लोकसभा में विचार किये जाने और पारित करने के लिए सूचीबद्ध किया गया है. इस विधेयक को लोकसभा में विधेयक पारित होने के बाद इसे राज्य सभा में लाया जाएगा. विधेयक उन तीन कृषि कानूनों को निरस्त करने के लिए है, जिनके खिलाफ किसान एक साल से अधिक समय से विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं.
विधेयक के उद्देश्य और कारणों के कथन में कहा गया है, ”ऐसे में जब हम आजादी का 75वां वर्ष आजादी का अमृत महोत्सव मना रहे हैं, तो समय की जरूरत है कि सभी को समावेशी प्रगति और विकास के रास्ते पर साथ लिया जाए.”
इसमें कहा गया है, ”उसके मद्देनजर, उपरोक्त कृषि कानूनों को निरस्त करने का प्रस्ताव है. आवश्यक वस्तु अधिनियम, 1955 (1955 का 10) की धारा 3 की उप-धारा (आईए) को हटाने का भी प्रस्ताव है, जिसे आवश्यक वस्तु अधिनियम (संशोधन) अधिनियम, 2020 (2020 का 22), के तहत डाला गया था.”
शीतकालीन सत्र शुरू होने के एक दिन पहले यानि रविवार को सरकार की ओर से सर्वदलीय बैठक बुलाई गई है. इस बैठक में सरकार की ओर से विपक्षी दलों को भरोसा दिलाया गया है कि वह विपक्ष के सकारात्मक सुझावों पर विचार करने को तैयार है. सरकार की ओर से बुलाई गई सर्वदलीय बैठक में पीएम मोदी नहीं पहुंचे. वहीं आम आदमी पार्टी के सांसद संजय सिंह ने मीटिंग छोड़कर बाहर निकल गए.
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